भाईदूज पर रतनगढ़ में लगा मेला:टूटे पुलों की वजह से मौ कस्बे से होकर जा रहे श्रद्धालु, प्रशासन ने तीन स्थानों पर बनाई पार्किंग

दतिया।दीपावली पर्व की भाईदूज को दतिया जिले के सेंवढ़ा अनुविभाग में प्रसिद्ध रतनगढ़ मेला का आयोजन होने जा रहा है। इस मेले में भाग लेने के लिए भिंड जिले अलावा, उत्तर प्रदेश से भी बढ़ी संख्या में श्रद्धालु वाहनों से पहुंच रहे है। सेंवढ़ा और रतनगढ़ पुल टूटने से वाहनों काे मौ कस्बे से रतनगढ़ के लिए डायर्वट किया गया है। जिन-जिन रास्तों से श्रद्धालुओं के वाहन निकल रहे है। ऐसे थानों को अलर्ट किया गया है। मंदिर पहुंच के लिए तीन रास्तें बनाए गए है यह रास्ते सिंगल रोड होने के लिए 3.5-5.6 KM दूर पार्किंग बनाई गई है। जहां वाहन चालकों को वाहन खड़े करके पैदल जाना होगा। वहीं हैवी वाहनों को मौ में स्थित सर्किट हाउस पर रोके जा रहे हैँ।
अगस्त माह में सिंध नदी में आई बाढ़ की वजहइ से रतनगढ़ पहुंच मार्ग के दो प्रमुख पुल धराशाई हो गए है। शनिवार को लोगों को रतनगढ़ पहुंचे के लिए वैकल्पिक रास्ता से होकर मेला में भाग लेने के लिए जाना पड़ रहा है। श्रद्धालु शुक्रवार देर रात से मंदिर में पहुंचने के लिए वाहनों से रवाना होने लगे। यह श्रद्धालु मंदिर पर पहुंचने के लिए पहले मौ कस्बे पहुंच रहे हैं। यहां से श्रद्धालु गांव के रास्ते शॉर्टकट होकर मंदिर पर पहुंच रहे है। भिंड जिला प्रशासन ने इन मार्ग पर तीन पार्किग स्थल बनाए है। जिसमें पहला पार्किग स्थल मौ से बेहट मार्ग की ओर जाते समय रनगवां तिराहे के पास बनाया है। यहां से मंदिर की दूरी करीब साढ़े 5.6 KM दूरी है। दूसरी पार्किंग मौ से खिरियावार के रास्ते में सौरा पंचायत में बनाई गई है। यहां से मंदिर की पैदल दूरी 4.4 KM दूरी है। इसके अलावा तीसरी पार्किग मौ के पास यादव धर्मकांटे के सामने वाले मैदान में बनाई है। यहां से मंदिर की दूरी 3.5KM दूरी है।
भिंड जिले में रतनगढ़ पहुंचने के लिए जालौन, काेंच, पंडोखर से आने वाले श्रद्धालु लहार से अमायन होते हुए मौ के रास्ते पहुंच सकेंगे। इसी तरह से इटावा उत्तर प्रदेश से आने वाले यात्री मेहगांव से मौ के रास्ते होकर मंदिर तक पहंंच सकेंगे। इसी तरह धाैलपुर राजस्थान, मुरैना से आने वाले यात्री ग्वालियर के रास्ते बेहट या फिर मालनपुर गोहद हाेते हुए मौ के रास्ते मंदिर तक पहुंच सकेंगे। इन रास्तों पर सुरक्षा की दृष्ट्रि से पुलिस फोर्स तैनात किया गया है। यह श्रद्धालु ट्रैक्टर, बस, डंपर, बाइकों से मेला में हिस्सा लेने के लिए जा रहे हैं।