गेहूं बेचकर 100 से अधिक किसान हुए करोड़पति, हजारों का कर्ज उतरा

विदिशा। विदिशा जिले में इस बार गेहूं की बंपर पैदावार ने बड़े से लेकर छोटे किसानों तक को मालामाल कर दिया है। अच्छी पैदावार होने से छोटे किसानों के वर्षों पुराने कर्जे उतर गए हैं। करीब से अधिक किसान करोड़पति बन गए हैं। किसानों का कहना है कि वर्षों बाद खेती उनके लिए फायदे का सौदा बनी है। रबी सीजन के शुरुआती दिनों में अच्छी बारिश के चलते किसानों ने गेहूं का रकबा बढ़ा दिया था। पहली बार विदिशा जिले में 3 लाख 88 हजार हेक्टेयर में गेहूं की बोवनी हुई थी। इस बार गेहूं का औसत उत्पादन प्रति बीघा तीन क्विंटल बढ़कर 10 से 12 क्विंटल रहा है।
ग्राम पांझ के किसान यशपाल रघुवंशी के मुताबिक उनकी असिंचित 20 बीघा जमीन में 80-90 क्विंटल गेहूं होता था। इस बार 150 क्विंटल से अधिक गेहूं हुआ है। अच्छी पैदावार होने से पहली बार साहूकार के कर्ज से मुक्त हो गए हैं। ग्राम समाचार के चैनसिंह राजपूत का कहना था कि उनकी 30 बीघा जमीन में अधिकतम प्रति बीघा 9 क्विंटल की पैदावार होती थी। जो इस साल 12 क्विंटल प्रति बीघा रही। उनका कहना है कि 25 सालों में पहली बार इतनी अच्छी पैदावार हुई है। ग्राम कुआं खेड़ा के किसान गोपाल मालवीय ने बताया कि उनकी 5 बीघा सूखी जमीन में 15 से 20 क्विंटल गेहूं होता था। इस बार करीब 50 क्विटल गेहूं हुआ है। समर्थन मूल्य पर गेहूं बेचने के बाद उनकी पुरानी देनदारियां चुकता हो गई हैं।जिला सहकारी केंद्रीय बैंक के सीईओ विनय प्रकाश सिंह के मुताबिक जिले में पहली बार गेहूं की खरीदी में रिकॉर्ड कायम हुआ है। जिले में 7 लाख 23 हजार मीट्रिक टन गेहूं की खरीदी की गई है। इनमें बड़े रकबे वाले करीब 100 से अधिक किसान शामिल हैं। इन किसानों ने 1 करोड़ रुपए से अधिक की राशि का गेहूं खरीदी केंद्र पर बेचा है। सिंह के मुताबिक जिले में 81 हजार किसानों ने गेहूं बिक्री के लिए पंजीयन कराया था। इनमें से करीब 70 हजार किसानों ने केन्द्रों पर गेहूं बेचा है। खरीदी केन्द्रों पर इस बार 81 फीसद किसान पहुंचे हैं। पिछली बार महज 41 फीसद किसान ही केन्द्रों पर गेहूं बेचने पहुंचे थे।